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प्रदेश के लिए ख़ास राजनीतिक प्रस्ताव महाधिवेशन में हुआ पास

केंद्र में कांग्रेस की सरकार आने पर उत्तराखंड के साथ साथ 11 हिमालयी राज्यों को विशेष दर्जा दिया जाने की…

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उत्तराखंड: प्रीतम ने संभाला नेता प्रतिपक्ष का पद

उत्तराखंड कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने सोमवार को उत्तराखंड विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष का कार्यभार संभाला। चकराता के…

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उत्तराखंड: प्रीतम को झटका गोदियाल बने कांग्रेस के अध्यक्ष, रावत चुनाव प्रचार समिति के प्रमुख

पंजाब के साथ लगे हाथ कांग्रेस ने उत्तराखंड इकाई में भी भारी फेरबदल कर दिया। दोनों ही राज्यों में अगले…

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राहुल ने उत्तराखंड के नेताओं के साथ किया मंथन, पार्टी में बदलाव की सुगबुगाहट तेज

नई दिल्ली। कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने उत्तराखंड विधानसभा चुनाव से जुड़ी तैयारियों को लेकर दो दिनों तक…

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‘प्रीतम’ के नेतृत्व में कांग्रेस जीत को तरसी, लगातार मिल रही हार से उठे सवाल

सल्ट उप चुनाव में कांग्रेस की हार के साथ ही प्रीतम सिंह के नेतृत्व पर सवाल उठने लगे हैं। 2022 के विधानसभा चुनावों से ठीक पहले पार्टी को लगे इस झटके ने कांग्रेस के भीतर प्रीतम की विदाई की बुनियाद रख दी है। पिछले 4 वर्षों से उत्तराखंड में प्रदेश अध्यक्ष के रूप में पार्टी की कप्तानी कर रहे प्रीतम सिंह की झोली जीत के लिहाज़ से ख़ाली है। वो अपने कार्यकाल में कांग्रिस को अभी तक एक भी चुनावी वैतरणी पार नहीं करा पाए हैं। हाल ही में राज्य की सल्ट सीट पर हुए उपचुनाव में कांग्रेस की करारी हार ने प्रीतम की नेतृत्व क्षमता पर सवाल खड़े कर दिए हैं। कहा जा रहा है कि जब किसानों की नाराज़गी, बेरोज़गारी, प्रवासियों का पलायन और राज्य सरकार की कोरोना प्रबंधन में विफलता के बावजूद भी प्रीतम पार्टी को नहीं जीता पाए तो उनके नेतृत्व में 2022 के विधानसभा चुनावों का समर पार्टी कैसे जीतेगी।  दरअसल कांग्रेस ने 2017 के विधानसभा चुनावों के बाद उनको प्रदेश अध्यक्ष की कमान सौंपी थी। इसके बाद से राज्य में पार्टी कोई भी चुनाव नहीं जीत पायी है।  उनका अध्यक्ष के रूप में कार्यकाल पार्टी संगठन और चुनावी दृष्टिकोण से उल्लेखनीय नहीं माना जाता है। राज्य के विधान सभा उपचुनाव, लोकसभा व पंचायतों के चुनाव में पार्टी की बुरी हार हुई थी। यहाँ तक सन 2018 में हुए नगर निकाय चुनाव में भी कांग्रेस को शिकस्त मिली थी। हरिद्वार व कोटद्वार जैसे निकायों में स्थानीय समीकरणों के कारण पार्टी ज़रूर कुछ कामयाबी हासिल कर पायी थी। …