उत्तराखंड के बच्चों को मिलेगा बहादुरी अवार्ड 

उत्तराखंड से इस बार तीन बच्चों के नाम राष्ट्रीय वीरता पुरस्कार के लिए चिन्हित कर भेजे गए हैं । राज्य बाल कल्याण परिषद ने भारतीय बाल कल्याण परिषद नई दिल्ली को जिन बच्चों के नाम भेजे हैं, उसमें रुद्रप्रयाग जिले के नितिन, पौड़ी गढ़वाल के आयुष ध्यानी एवं अमन सुंद्रियाल शामिल हैं। उत्तराखंड राज्य बाल कल्याण परिषद की महासचिव पुष्पा मानस व संयुक्त सचिव कलेश्वर प्रसाद भट्ट के अनुसार, भारतीय बाल कल्याण परिषद ने 1957 से वीरता पुरस्कार की शुरुआत किए थे जिसके बाद इन पुरस्कार के रूप में एक पदक, प्रमाण पत्र और नकद राशि वितरित की जाएगी। सभी बच्चों को विद्यालय की पढ़ाई करने के लिए राशि भी दी जाएगी। 
रुद्रप्रयाग के तमिण्ड गांव निवासी नितिन का सामना चंडिका मंदिर जाते हुए रास्ते में गुलदार से हुआ था जिस परिस्थिति से  साहस का परिचय देते हुए नितिन ने गुलदार से न सिर्फ अपनी बल्कि अपने भाई की भी पूरी ताकत से जान बचाई। घटनाक्रम के अनुसार 18 वर्षीय नितिन 12 जुलाई 2021 की सुबह अपने बड़े भाई सुमित के साथ नारी देवी चंडिका मंदिर महायज्ञ में जा रहा था। रास्ते में डाडू तोक के पास पानी के स्रोत से वह पानी पीने लगा इस बीच उसका बड़ा भाई कुछ आगे निकल गया, तभी पहले से घात लगाए बैठा गुलदार नितिन पर झपट गया। नितिन को तीन मीटर नीचे की ओर धकेल कर फिर उस पर झपटा। कुछ देर बाद नितिन का बड़ा भाई मौके पर पहुंच गया और उसने गुलदार पर पत्थर फेंके, इस बीच गुलदार नितिन को छोड़कर उसके भाई की और दौड़ पड़ा। वहा भी नितिन ने साहस का परिचय दिया। पुरस्कार के लिए अंतिम चयन भारतीय बाल कल्याण परिषद नई दिल्ली की ओर से किया जाएगा। 

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